इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में फीस बढ़ोतरी के विरोध में छात्रों ने खून से लिखी राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को चिट्ठी

प्रयागराज। इलाहाबाद विश्वविद्यालय में फीस वृद्धि के विरोध में छात्रों ने राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल और शिक्षा मंत्री को पत्र लिखा है। छात्रों ने पत्र में विश्वविद्यालय के फीस वृद्धि के फैसले को गरीब, मजदूर और किसान तबके से आने वाले विद्यार्थियों का विरोध बताते हुए कहा है कि इससे यह छात्र शिक्षा के अधिकार से वंचित हो जाएंगे।सोमवार दोपहर छात्रसंघ भवन पर मुबाशिर हारून, सुधीर, हरेंद्र यादव, जितेंद्र धनराज, राहुल पटेल, विजयकांत, सत्यम कुशवाहा, शिवबली, मोहम्मद अशफाक, यशवंत, आयुष प्रियदर्शी, हरिओम त्रिपाठी, शशांक, अनुराग, आनंद सांसद, गौरव गौंड, राहुल सरोज, मनजीत पटेल, अमित ने अपने रक्त से पत्र लिखा है। इस दौरान आंदोलन को समर्थन देने के लिए नागरिक समाज इलाहाबाद उच्च न्यायालय के अधिवक्ता रवि किरण जैन के नेतृत्व में समर्थन देने पहुंचा।रवि किरण जैन ने कहा कि विश्वविद्यालय प्रशासन व सरकार से अनुरोध है कि चार गुना फीस वृद्धि को तत्काल वापस लिया जाए वरना। अब इस आंदोलन को विश्वविद्यालय के बाहर पूरे शहर भी ले जाया जाएगा। फीस वृद्धि वापसी के साथ साथ जल्द से जल्द छात्रसंघ की बहाली की भी मांग उठाई गई। आमरण अनशन पर बैठे विवेक सुल्तानवी और मुकेश यादव को समर्थन भी दिया। इस दौरान नरेश सहगल, सुरेंद्र राही, हरिश्चंद्र द्विवेदी, अवधेश यादव, ऋषि स्वर उपाध्याय, सुनीता शाह सहित कई लोग उपस्थित रहे।

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