उत्तराखंड: टीका न लगवाने वालो के घर दस्तक देंगी स्वास्थ्य विभाग की टीम

उत्तराखंड में अभी तक कोरोना का टीका न लगवाने वाले लोगों को अब इसकी वजह बतानी होगी। स्वास्थ्य विभाग की टीमें टीका लगने से छूटे लोगों को तलाशने के लिए घर-घर जाकर दस्तक देंगी और विशेष प्रारूप पर सवाल पूछेंगी। सभी जिलों को इसकी रिपोर्ट रोजाना प्रदेशस्तर पर देनी होगी। पूरे प्रदेश में हर घर दस्तक अभियान शुरू कर दिया गया है।

राज्य सरकार ने पूरे प्रदेश में 15 दिसंबर तक 100% टीकाकरण का लक्ष्य रखा है। प्रदेश के कई जिलों में बड़ी संख्या में लोगों ने कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज नहीं लगवाई है। वहीं, बाहर से आए और हाल ही में 18 वर्ष के हुए तमाम युवा पहली डोज से छूटे हुए हैं जबकि कुछ लोग टीका लगवाने में आनाकानी कर रहे हैं। देहरादून जिले में 18 प्लस श्रेणी में 11 लाख और 45 प्लस की श्रेणी में साढ़े पांच लाख लोगों को टीका लगाने का लक्ष्य रखा गया है।

जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. दिनेश चौहान ने बताया कि जिले में बाहरी लोगों समेत 104% को पहली डोज लग चुकी हैं। 64% लोगों को दोनों डोज लगा दी गई हैं। उन्होंने बताया कि हेल्थ पोस्ट सेंटर के प्रभारी की अगुवाई में आशाओं व सामाजिक संस्थाओं के माध्यम से अभियान चलाया जा रहा है। इसमें परिवार के सदस्यों की संख्या, उनके द्वारा लगाए टीके का रिकार्ड और यदि नहीं लगाया गया तो कारण पूछकर डाटा, गूगल शीट के जरिए जमा कराया जाएगा।

गर्भवतियों के टीकाकरण पर भी नजर 
यह टीमें गर्भवतियों के टीकाकरण पर भी फोकस करेंगी। यदि घरों में गर्भवतियों को टीका नहीं लगा है तो उन्हें संबंधित एएनएम केंद्रों पर ले जाकर टीका लगवाया जाएगा। कोरोना के चलते बच्चों एवं गर्भवतियों का टीकाकरण काफी छूट गया है।

घर-घर जाकर होगा टीकाकरण : धन सिंह
राज्य में शत-प्रतिशत टीकाकरण का लक्ष्य हासिल करने के लिए घर-घर टीकाकरण अभियान शुरू किया जाएगा। टीकाकरण को लेकर स्वास्थ्य मंत्री डॉ.धन सिंह रावत ने मंगलवार को सचिवालय में स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग की बैठक ली। बैठक में डॉ.रावत ने अफसरों को निर्देश दिए कि प्रदेशभर में कोविड-19 टीकाकरण अभियान में तेजी लाने के लिए टीमों का गठन कर घर-घर भेजा जाए।

घर-घर टीकाकरण अभियान की जिम्मेदारी सीएमओ के साथ मंडलस्तरीय निदेशक संभालेंगे। उन्होंने राज्य में आरटीपीसीआर जांच बढ़ाने के लिए विभिन्न संस्थानों में कैम्प लगाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जिन अस्पतालों में एमआरआई और एक्सरे मशीनें उपलब्ध हैं, वहां पर शीघ्र एक्सरे टेक्निशियनों की नियुक्ति की जाएगी।

धन सिंह ने बताया, अगली कैबिनेट बैठक में फार्मासिस्टों के विभागीय ढांचा, एमबीबीएस छात्रों की फीस कम करने, क्लीनिकल ऐक्ट में संशोधन, मेडिकल कॉलेजों में आयु सीमा में वृद्धि, नर्सिंग भर्ती नियमावली में संशोधन सहित आधा दर्जन प्रस्ताव लाये जाएंगे। उन्होंने महानिदेशक स्वास्थ्य को विभाग में रिक्त जेई एवं स्वच्छकारों के पदों को आउटसोर्स के माध्यम से भरने के लिए तत्काल प्रस्ताव उपलब्ध कराने को कहा।

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