प्रयागराज में ठहाकों की मुफ्त कोचिंग, स्‍वस्‍थ रहने को क्‍लास में शामिल होते हैं लोग

प्रयागराज। कहते हैं…एक मुस्कान दुनियाभर के तनाव को दूर कर देती है। मुस्कुराहट से जीवन काे बेहतर बनाया जा सकता है। ये दोनों पक्तियां प्रयागराज शहर के हृदय स्थल अमर शहीद चंद्रशेखर आजाद पार्क में हर सुबह लगने वाले ठहाकों को चरितार्थ करती हैं। यहां दर्जनों लोगों की सुबह हंसी-ठिठोली से ही शुरू होती है। इससे उनका पूरा दिन का चैन से बीतता है और रात की नींद बेहतरीन पूरी होती है। इसीलिए इस मुस्कान शिविर में भाग लेने वालों की कतार लगी रहती है। चंद्रशेखर आजाद पार्क में निशुल्‍क कोचिंग : प्रयागराज के चंद्रशेखर आजाद पार्क में ठहाकों की कोचिंग चलती है। बाकायदा क्लास चलती है, वह भी निशुल्क। यहां सुबह 50-50 मिनट की तीन कक्षाएं चलती हैं। प्रत्येक कक्षा में 100 लोग शामिल होते हैं। पार्क के बीचोंबीच स्थित विक्टोरिया मेमोरियल के पास रखी गई तोप के सामने मैदान में चलने वाली क्लास में चौक के रहने वाले हरिकृष्ण चौरसिया और जार्ज टाउन निवासी दीपक अग्रवाल जैसे कोच भी होते हैं। ये कोच हंसने-हंसाने का गुर सिखाते हैं। शहर के मुट्ठीगंज निवासी जितेंद्र जायसवाल और जार्जटाउन निवासी राजेंद्र केसरवानी के मुताबिक हंसी-ठिठोली की इस क्लास से लोगों को इतना स्वास्थ्य लाभ मिल रहा है कि प्रवेश के लिए लंबी कतार लगी है। दो से तीन माह की क्लास में महिलाएं और पुरुष दोनों होते हैं। ये क्लास लगभग 20 वर्षों से चल रही है जिसमें अब तक 20 हजार से ज्यादा लोगों को हंसी-ठिठोली के लिए प्रशिक्षित किया जा चुका है। प्रशिक्षण लेने वालों से भी दूसरों को हंसने के लिए प्रेरित किया जाता है। प्रशिक्षण में बाकायदा हंसने, मुस्कुराने के तरीके बताए जाते हैैं। कब और कैसे हंसना और मुस्कुराना चाहिए ये सिखाया जाता है। तनाव वे खिंचाव है जो शरीर को स्वतंत्र नहीं होने देता। इसके परिणाम स्वरूप कई बीमारी जन्म ले लेती हैं। तनाव एक बीमारी है जो दिखाई नहीं देती है। तनाव मूल रूप से विघर्सन है। घिसने की क्रिया ही विघर्सन कहलाती है। घिसना अर्थात विचारों का नकारात्मक होना या मन का घिस जाना। प्रेम, करुणा और दया से तनाव पर विजय पायी जा सकती है। आज है विश्‍व मुस्‍कान दिवस तो दूसरों को मुस्‍कुराने में करें मदद : डा. शंकर सुवन सिंह ने कहा कि आज विश्व मुस्कान दिवस है। इस वर्ष विश्व मुस्कान दिवस का विषय- ‘दयालुता का कार्य करें, एक व्यक्ति को मुस्कुराने में मदद करें’ है। दूसरों की मदद करना और उनके चेहरे पर मुस्कान लाना ही तनाव से मुक्ति दिलाता है। मुस्कान रूपी देवकी ने तनाव रूपी कंस (राक्षस) को मारने के लिए प्रेम रूपी कृष्ण को पैदा किया। भगवान श्रीकृष्ण प्रेम के प्रतीक थे। अत: कह सकते हैं कि मुस्कराहट के भाव से तनाव पर विजय प्राप्त की जा सकती है। एक मुस्कान बड़ी से बड़ी कठनाई को सरल बनाने में कारगर है। मुस्कराहट से चिंता के काले बादल छंट जाते हैं। जब होंठों पर हंसी फूटती है तब बंजर जिंदगी लहलहा उठती है। मुस्कान, तनाव से मुक्ति का मंत्र है।

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