चर्चित शमीम हत्याकांड में बसपा नेता को इलाहाबाद हाई कोर्ट से मिली जमानत
प्रयागराज । इलाहाबाद हाई कोर्ट ने फर्रुखाबाद के पीडब्ल्यूडी ठेकेदार शमीम हत्याकांड के आरोपित बसपा नेता अनुपम दुबे को जमानत दे दी है। यह आदेश न्यायमूर्ति अजीत सिंह ने वरिष्ठ अधिवक्ता मनीष तिवारी व वादी के अधिवक्ता को सुनकर दिया है। फर्रुखाबाद के ठेकेदार शमीम की हत्या का केस फतेहगढ़ थाने में दर्ज था वर्ष 1995 को अज्ञात व्यक्तियों द्वारा शमीम ठेकेदार की हत्या कर दी गई थी। इस मामले की प्राथमिकी मृतक के भाई ने फतेहगढ़ थाने में 26 जुलाई 1995 को दर्ज कराई थी। इसमें राजेंद्र उर्फ राजू लंगड़ा, कौशल किशोर, लक्ष्मी नारायण व बालकिशन को आरोपित बनाया गया। विवेचना के बाद अभियुक्त राजू लंगड़ा के विरुद्ध ही आरोप पत्र प्रेषित किया गया। बाद में ट्रायल कोर्ट के बाद राजू लंगड़ा को बरी कर दिया। इसके बाद मामले को सीबीसीआइडी को भेज दिया गया, जिसमें दो गवाहों सरफराज व इदरीश के बयानों के आधार पर अनुपम दुबे को आरोपित बनाया गया और आरोप पत्र दाखिल किया गया। याची के अधिवक्ता का तर्क था की शुरुआत में प्राथमिकी अज्ञात के विरुद्ध दर्ज कराई गई। बाद में उक्त दोनों गवाहों के बयान में याची को नामित किया जबकि राजू लंगड़ा के ट्रायल के समय अदालत के समक्ष गवाहों ने याची के विरुद्ध बयान नहीं दिया था ।दूसरे पक्ष का तर्क था कि याची का लंबा अपराधिक इतिहास है। जबकी याची अधिवक्ता ने कहा कि क्रिमिनल हिस्ट्री का पूरा उल्लेख किया गया है। न्यायालय ने गवाहों के बयान व जेल में बिताई गई अवधि के आधार पर जमानत अर्जी को मंजूर कर लिया।